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Monday, 24 September 2012

गुरू जी, सावधान! डंडा मारा तो होगी जेल

UPTET - टीईटी - TET


गुरू जी, सावधान! डंडा मारा तो होगी जेल


निज प्रतिनिधि, एटा: गुरू जी सावधान हो जाइए, क्योंकि अगर बच्चे की गलती पर आपने उसे डंडा मारा, तो जेल की हवा भी खानी पड़ सकती है। शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत ऐसे मामले में बच्चे के अभिभावक संबंधित शिक्षक के खिलाफ एफआइआर दर्ज करा सकते हैं। अब बच्चे को पिटाई से नहीं, बल्कि प्यार से समझाना होगा।
दरअसल, आरटीई लागू होने से जहां बच्चों को राहत मिली, वहीं शिक्षकों व अधिकारियों पर नियमों का बंधन लग गया है। न तो कोई शिक्षक कक्षा में डंडा लेकर पढ़ाने जाएगा और न बच्चे को फेल किया जा सकता। बच्चा अगर कमजोर है, तो उसे अलग से क्लास देकर अन्य होशियार बच्चों की तरह बनाया जाएगा।
अधिनियम के तहत अगर शिक्षक ने बच्चे की डंडे से पिटाई कर दी, तो उसे जेल की हवा खानी पड़ सकती है। अभिभावक इस संबंध में थाने में एफआइआर दर्ज करा सकते हैं। शासन ने शिक्षा अधिकारियों को निर्देश भेजे हैं। शिक्षकों को अधिनियम की जानकारी देने के लिए उन्हें ट्रेनिंग भी दी जाएगी।
बीएसए शौकीन सिंह यादव ने बताया कि शिक्षकों को निर्देश दिए गए हैं कि डंडे से नहीं, बल्कि बच्चों के साथ प्यार का व्यवहार अपनाकर उन्हें समझाएं।
संवाद कार्यक्रम में दी जाएगी जानकारी
शिक्षकों को अधिनियम की जानकारी संवाद कार्यक्रम के तहत दी जाएगी। इसके लिए संबंधित जिला समन्वयक को लखनऊ में ट्रेनिंग दी जाएगी। उसके बाद जिला स्तर पर ट्रेनरों को प्रशिक्षण दिया जाएगा, जो बाद में संवाद कार्यक्रम के बारे में शिक्षकों को जानकारी देंगे। ये कार्यक्रम विकास खंड स्तर पर आयोजित किये जाएंगे। 

Source - Jagran
24-9-2012

13 comments:

Unknown said...

dheer ji ab aap cb par reg kar skte h
thnx

प्रमोद पाण्डेय said...

P

PD said...

PRABHAT JI I WOULD LIKE TO THANK YOU ALOT AS YOU PROVIDE A GREAT PLATFORM FOR US TO SHARE OUR VIEWS. BUT SOME PERSONS OFTEN FORGOT THE IMPORTANCE OF THIS PLATFORM AND MISUSE IT.
POSSIBLY IT MAY BE DUE TO THEIR FRUSTRATION BUT THE FAULT IS FAULT AND IT SHOULD NEVER BE EXCUSED.
BE PATEINCE ALL MY FREINDS AS GOV IS NOW GOING TO RECRUIT US AND SOON WE ALL ARE AUTHORISED TEACHERS
SO IT SHOULD OUR DUTY TO BEHAVE OURSELVES AS THE PRIDE OF A TEACHER ALWAYS REMAINS MATCHLESS.
WISH U ALL A VERY SWEET GOOD NIGHT

nishant said...

dhyan de ager aap form me galat information fill karte hai to bhi wo forgery(420) me aata hai,ager bed ke sath aur kuch kiya hai wo bhi 420 me aata hai,esi prakar bed 2011-2012 wale form dal sakte the lekin unhone gov ke aadesh kebajood tet2011 me apply kiya tha jo ki kanoon se galat hai, esi prakar jo log kuch nahi kar rahe the unhone bhi tet pass kiya wo bhi kahi manny nahi hai,form dalne phele confirm kar le kahi esa na ho 420 me diet case kar de aur wo aane wali 80000 vacancy se bhi haat dho baithe, kyu ki jab tak case chalega tab tak naukari muskil hai

sanjeev said...

prabhat g meri ap se ek request hai .sir 27sep ko court order jitni jaldi ho sake update kar dijiyega kyoki yaha authentic news dene wale kam hai but rumour phelane wale jyada

nishant said...

mark sheet me candidate & father name me mistak wale correction karwale,

nishant said...

bed ke sath jinhine teaching ki hai aur sign kiye hai wo, ya other course kiya hai, jinhone ctet2012 me 1 level se qualify kiya hai,ya bed 2011-2012 sesion walo ne uptet2011 qualify kiya hai ,unki naukari hamesa kannon ke fande me hai

sunil kumar tiwari sunlkmrr@gmail.com said...

SABHI TETIONS SARKAR SE MANG KAREN KI GUNANK METHOD ME B.ED TOTAL MARKS*5/10 AND TET FULL% BHI JODE JAYEN ISASE YE METHOD TARKPOORN HO JAYEGA AUR TET KA IMPORTANCE BHI KAM NAHIN HOGA YANI KI

HS%/10
+
INT%*2/10
+
GRADU%*4/10
+
B.ED.*5/10
+
TET%

IT'S BEST FORMULA FOR ALL TETIONS

Unknown said...

Bhai kal court me dble bnch me sunwayi h i am afraid jne kya hoga.plz kal b btate rahiyega

ABHAY SINGH SRINET @GORAKHPUR@ said...

Agar Is baar kisi ne bharti me tang addai to bahut bura ho gayega, uska naam to samne aa hi gayega.to wo dekh lega ki kya hota h, SALE BHARTI ME BAS APNI APNI SOCH RAHE H, K KAHA MERA FAYDA H, are SALO GOVT SABKO KHUS NAHI KAR SAKTI, INKO KO TO LAG RAHA H K FALANA BASE PAR MERI BHARTI NAHI HOGI TO MAI COURT JAUNGA, TO JAO SALO COURT, MAI BHI DEKHTA HU K BHARTI ROKNE ME KAUN SAAMNE AATA H...

zubair said...

shalabh bhai me apke jazbe ki qadr karta hun. Lekin agar insaf tb aye jb yachi marne wala ho. ye hindustan h, yahan har wo kam hota h jise videshoun me annay samjha jata h. Matlab videshoun ka anyay yahan nyay hota h. Ye bat bs zara der se samajh ayee. Kyunki natikta ki kisi gandi kitab me hmne ye padh liya tha k HONESTY IS THE BEST POLICY, to hm honest ho gaye or wahin se pareshani shuru ho gayi. Isliye mere bhai govt se mang wang karne se kuch nai hoga, hoga wahi jo govt (sorry india me koi govt nai h, iske istan par hm rulling party ka prayog karenge) chahegi. Isliye jo ho raha h hone do. Mang wang se yahan kuch nai hota. HINDUSTAN me ya to note chalta h ya vote.

sanjeev said...

sunil g your suggestion is nice but not not applicable legally .the recruitment is possible only through the old adv .according to supreme court process once decided and started for certain recruitment is neither subject to change nor to any amendment if it not discriminatory .justice sudhir agrawal has also favoured no change in the process .if govt govt changes the process due to forgery or irregularties ,in the very case either the candidatures of of forged candidates or the whole tet exam may be cancelled .so wait for court decision for the petitions filed by tet merit supporters .in a few days the whole picture will be clear .

VIKRAM PRATAP SINGH SAIFAI (ETAWAH) said...

Abhi base ke bare me clear nahi hua hai
शिक्षण प्रशिक्षण दुरुस्त करने पर जोर
जागरण ब्यूरो, लखनऊ : अध्यापक पात्रता परीक्षा पर उठे विवाद और शिक्षकों के पद पर बीएड डिग्रीधारकों को भर्ती करने की अनुमति हासिल करने के बाद बेसिक शिक्षा विभाग का जोर अब प्रदेश में शिक्षण प्रशिक्षण व्यवस्था को दुरुस्त करने पर होगा। शिक्षकों को सेवा से पहले दिये जाने वाले बीटीसी प्रशिक्षण को विनियमित करने के लिए विभाग कवायद शुरू कर चुका है। प्रदेश के परिषदीय स्कूलों में शिक्षक नियुक्त होने के लिए शैक्षिक योग्यता स्नातक और बीटीसी है। बीटीसी का दो वर्षीय प्रशिक्षण पूरा करने वाले प्रशिक्षु (अब अध्यापक पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण करना भी अनिवार्य) परिषदीय स्कूलों में शिक्षक नियुक्त होते हैं। बीटीसी प्रशिक्षण जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (डायट) तथा राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद (एनसीटीई) से मान्यता प्राप्त और राज्य सरकार से संबद्ध निजी संस्थान देते हैं। प्रदेश में जितनी संख्या में शिक्षकों की जरूरत है, उसके अनुपात में बीटीसी ट्रेनिंग की व्यवस्था नहीं है। प्रदेश में हरसाल औसतन 12 से 14 हजार शिक्षक रिटायर होते हैं और इससे कुछ ज्यादाही बीटीसी प्रशिक्षण हासिल कर पाते हैं। इतना ही नहीं, राज्य में बीटीसी ट्रेनिंग के कर्णधार बने डायट प्रशिक्षकों की जबर्दस्त कमी से जूझ रहे हैं। डायट में टीचर्स ट्रेनर्स के 40 फीसदी पदों पर ही तैनाती है, शेष खाली हैं। राज्य में बीटीसी का सत्र भी नियमित नहींहै। निजी संस्थाओं को बीटीसी की संबद्धता देने के लिए कोई कैलेंडर भी तय नहीं है।हाल ही में एनसीटीई ने राज्य सरकार को परिषदीय प्राथमिक स्कूलों में शिक्षकों के पद पर बीएड डिग्रीधारकों को 31 मार्च 2014 तक शिक्षक नियुक्त करने की अनुमति तो दे दी लेकिन साथ में यह भी हिदायत दी कि राज्य सरकार बीटीसी प्रशिक्षण की व्यवस्था को दुरुस्त करे। शिक्षकों के सेवापूर्व प्रशिक्षण को विनियमित करने के लिए बेसिक शिक्षा विभाग ने नियमावली बनाने की कवायद शुरू करदी है। इस संबंध में राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद शासन को उप्र प्रारंभिक (बेसिक) शिक्षा प्रशिक्षण नियमावली 2012 का प्रारूप उपलब्ध करा चुका है। नियमावली को अंतिम रूप देने के लिए शासन में विचार विमर्श जारी है। नियमावली के प्रारूप को अंतिम रूप देने के बाद इसे कैबिनेट से मंजूर कराया जाएगा